पंजाब में महिला ऋण मुक्ति आंदोलन तेज हुआ

पंजाब में महिला ऋण मुक्ति आंदोलन हुआ तेज


पुरुषोत्तम शर्मा


महिला स्वयं सहायता समूहों का महिला ऋण मुक्ति आंदोलन पंजाब में जोर पकड़ता जा रहा है। भाकपा (माले) लिबरेशन, मजदूर मुक्ति मोर्चा और ऐपवा के नेतृत्व में मानसा जिले से शुआ हुआ यह आंदोलन अब धीरे-धीरे पूरे पंजाब में फैलता जा रहा है।


राज्य के तमाम जिला और तहसील मुख्यालयों पर ऋण मुक्ति आंदोलनों में महिलाओं की भारी भीड़ उमड़ रही है। 23 जुलाई को बरनाला जिले की तपा तहसील में महिला ऋण मुक्ति आंदोलन के बैनर तले हुए सम्मेलन में बड़ी संख्या में महिलाएं जुटी।


सम्मेलन की मांगें थी-


1- सूक्ष्म वित्त कंपनियों द्वारा महिलाओं के दिए गए सभी ऋण माफ हों!


2- लॉक डाउन के दौरान स्कूली बच्चों की पूरी फिस माफ हो!


3- सरकारी अस्पतालों में कोरोना की मुफ्त जांच व मुफ्त इलाज हो!


4- कोरोना की आड़ में आंदोलनों पर लगाए गए अघोषित आपातकाल को वापस लो!


5- क्रांतिकारी कवि वरवर राव सहित मोदी सरकार से असहमति रखने वाले तमाम बुद्धिजीवियों, राजनीतिक व सामाजिक कार्यकर्ताओं पर लगाए गए झूठे मुकदमे वापस लो और गिरफ्तार लोगों को रिहा करो!


सम्मेलन को भाकपा (माले) केंद्रीय कमेटी के सदस्य कामरेड राजविंदर सिंह राणा, राज्य कमेटी सदस्य और बरनाला जिले के प्रभारी कामरेड नछत्तर सिंह खीबा, जिला सचिव गुरप्रीत रोरके, अखिल भारतीय किसान महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष कामरेड रुलदू सिंह, किसान नेता कामरेड गोरा सिंह भैड़ी, जग्गा सिंह, मोहन सिंह रोरके, आकार सिंह बराड़, क्रांतिकारी युवा परिषद के हरनाम सिंह हिम्मतपूरा, सोनी सिंह हिम्मतपुरा, महिला नेता परमजीत कौर बरनाला आदि ने संबोधित किया।