एक ब्रिगेडियर ने पूछे प्रधानमंत्री मोदी से सवाल

ब्रिगेडियर प्रदीप यदु का प्रधानमंत्री जो खुला पत्र

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सशस्त्र सेना का राजनीतिकरण तथा अपमान / निरादर

माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ,

जयहिन्द ,

मैं ब्रिगेडियर प्रदीप यदु , सेवानिवृत्त , रायपुर से आपका हार्दिक स्वागत करता हूँ , अभिनन्दन करता हूँ ।

एक पूर्व सैनिक होने के नाते मेरे पास भारतीय सेना से सम्बंधित कुछ प्रश्न है , आशा करता हूँ कि आप अपने संबोधन में इनका उत्तर अवश्य देंगें ।ये प्रश्न तथ्यों पर आधारित हैं ना कि मेरे मस्तिष्क से उपजी विचारधारा पर । प्रश्न निम्मनलिखित हैं ।

1. हर साल ,15 अगस्त को प्रधानमंत्री द्वारा देश को सम्बोधित करते समय परंपरानुसार जनरल ऑफिसर कमांडिंग , दिल्ली एरिया हमेशा प्रधानमंत्री के बगल में खड़ा होता था जिससे विश्व को सन्देश जाता था कि भारतीय सेना पर प्रधानमंत्री का और पूरे देश का सर्वोच्च विश्वास है ।आपने स्वतंत्रता के बाद से चलने वाली परम्परा को समाप्त कर दिया , ऐसा क्यों ?

2. हर साल 15 जनवरी को " सेना दिवस " मनाया जाता है जिसमे स्वतंत्रता के बाद से चल रही परम्परा के अनुसार सेनाध्यक्ष के निवास में स्वल्पाहार का आयोजन किया जाता है जिसमे सभी राजनेता , वरिष्ठ अधिकारी , बुद्धिजीवी तथा अन्य गणमान्य नागरिक शिरकत करते हैं पर आपने तथा रक्षा मंत्री ने इस कार्यक्रम में जाना उचित नही समझा , ऐसा क्यों ?

3. आपने पिछले चार वर्षों में चार रक्षा मंत्री बदले , पहले वित्तमंत्री श्री अरुण जेटली को रक्षा मंत्रालय का अतिरिक्त भार दिया इसके बाद एक छोटे से प्रदेश गोआ के मुख्यमंत्री को रक्षा मंत्री बनाया , उसके बाद आप पुनः श्री अरुण जेटली को वापस ले आये तथा अंत में श्रीमती निर्मला जी को रक्षामन्त्री का पद प्रदान किया । इस प्रकार से आपने पूरे विश्व को सन्देश दे दिया कि आपकी "priority list" में रक्षा मंत्रालय नही है , ऐसा क्यों ?

4. 7th पे कमीशन पर जो सशत्र सेनाओं की मांग थी आपने उन्हें नही दिया तथा सेना के तीनों अध्यक्षों ने इसे पारित करने से मना कर दिया तब तत्कालीन रक्षामंत्री श्री मनोहर परिर्कर ने लिखित में तीनों सेना अध्यक्षों को आदेश दिया कि वे 7th पे कमीशन को पारित करें ।इतना ही नही आपने सशस्त्र सेनाओं के स्पेशल आर्मी ,नेवी तथा एयरफोर्स इंस्ट्रुक्शन्स को निरस्त कर इस विषय पर ग़ज़ेट नोटिफिकेशन जारी कर दिया , ऐसा क्यों ?

5. आपने गुवाहाटी तथा लेह को IAS ,IPS, IFS तथा अन्य वर्गों के अधिकारियों के लिए "Hard Area" घोषित किया तथा इन अधिकारियों को उनके वेतन के अलावा प्रतिमाह 54000 / ( चौवन हजार रुपये ) Hard Area Allounce  के रूप में देना शुरू कर दिया जबकि एक सैनिक अधिकारी जो सियाचेन ग्लेशियर में तैनात रहता है ,आप उसे मात्र 29,500 / ( उनतीस हज़ार पांच सौ रुपये) प्रतिमाह देते हैं । सेना के साथ ऐसा सौतेला व्यवहार क्यों ?

6. 1983 में 5th पे कमीशन में सैनिक अधिकारियों को जो राशन स्वीकृत किया गया था उसे आपने 7th पे कमीशन के दौरान हटा दिया गया, ऐसा क्यों ?

7. पूर्व सैनिक पेंशनधारियों की संख्या 25 लाख है ,उनका सलाना बजट 33,000 करोड़ है अर्थात पूर्व सैनिक की प्रतिमाह औसत पेंशन मात्र 15,050 रुपये है जबकि रक्षा मंत्रालय के अंर्तगत जो सिविलियन कार्यरत थे इन पेंशनधारियों की सँख्या सिर्फ 5.32 लाख है तथा इनका सालाना बजट 21,000 करोड़ है इसका मतलब एक सिविलियन को औसत प्रतिमाह 33,680 रुपये की पेंशन मिलती है । जो  IAS/IPS/IFS तथा अन्य वर्ग के अधिकारी हैं इनके पेंशनधारियों की संख्या मात्र 2.95 लाख है तथा इनके लिए 33,500 करोड़ के बजट का प्रावधान है ,अर्थात इस श्रेणीं के अधिकारी को औसत प्रतिमाह 93,930 रुपये पेंशन मिलती है ।सैनिकों के लिए इतना बड़ा फर्क क्यों प्रधानमंत्री जी ?

8. OROP ( one rank one pension) ,आज 1300 दिनों से ज्यादा हो गए हैं पूर्व सैनिकों को शांतिपूर्ण धरना देते हुए जंतर-मंतर, दिल्ली में ।आपकी दिल्ली पुलिस ने पिछले साल उनपर लाठी चार्ज भी किया ।OROP पर कोशियारी कमेटी की रिपोर्ट को जब आप विपक्ष में थे तब आपने संसद में इस रिपोर्ट को स्वीकारा था ।पर आपके सत्ता में आने के बाद आपके वित्त मंत्री श्री अरुण जेटली ने OROP की परिभाषा ही बदल डाली और उन्होंने देश से झूठ वोला है कि OROP को लागू कर दिया गया है ।आपने भी ये दावा किया था कि आपने OROP तथा Surgical Strike जैसे साहसिक फैसले किये हैं ।आपने मात्र एक इंक्रीमेंट दिया है और ना कि OROP । आपने तथा वित्तमंत्री ने  देश को गुमराह करने का कार्य किया है , ऐसा क्यों ?

9. Nonfunctional Financial Upgrade (NFU) ,जस्टिस नरसिम्हा रेड्डी रिपोर्ट सरकार को अक्टूबर 2016 में दे दी गई थी जिसमे सशस्त्र सेनाओं को NFU देना चाहिए ऐसा लिखा गया था पर आपने नही दिया, इसके खिलाफ दिल्ली हाइकोर्ट में याचिका डाली गई और दिल्ली हाइकोर्ट का आदेश था कि सरकार को  सेना को NFU देना पड़ेगा ।इसके पश्चात भी आपने NFU नही दिया और आपकी सरकार ने दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है । सेना के प्रति आपका व्यवहार सौतेला क्यों है ?

10. Armed Forces Tribunal (AFT) , AFT Act 2007 में पारित किया गया । आपको ये जानकर हैरानी होगी कि अन्य सभी Tribunal ,कानून मंत्रालय के अंतर्गत आते हैं  पर मात्र AFT है जो Ministry ऑफ Defence के अंदर आता है ।आपने इस एक्ट में संशोधन किया कि AFT का प्रशासनिक अधिकारी पूर्व सैनिक अधिकारी की जगह सिविलियन अधिकारी होगा ।AFT के जितने भी फैसले सेनाकर्मियों के पक्ष में आएं हैं , रक्षामंत्रालय ने उन सभी के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका डाली है ।अर्थात " सेना मंत्रालय अपने ही सैनिकों के खिलाफ है " । ऐसा विश्व के किसी भी देश में नही होता है ।सुप्रीम कोर्ट ने 4 माह पहले रक्षामंत्रालय के ऊपर एक लाख रुपये के जुर्माने का आदेश दिया था और साथ में अपने आदेश में ये भी लिखा था कि रक्षामंत्रालय की ये हरकत शर्मनाक है । आपकी सेना से इतनी नाराजगी क्यों है ?

11. जम्मू- कश्मीर का ड्रामा , आपने PDP को समर्थन दिया और 3 साल वँहा सरकार चलाई ये जानते हुए भी की PDP हुर्रियत तथा अलगाववादी ताकतों तथा आतंकवाद की पक्षधर है । वँहा सैनिकों के साथ किये गए अत्याचार को पूरा देश जानता है ।एक हथियार बंद सैनिक को लोंगो द्वारा मारा जा रहा है, उन्हें गिराया जा रहा है, उनके हेलमेट को फेका है रहा है फिर भी वह सहनशील सैनिक फायर नही करता । पत्थरबाज खुले आम सैनिकों के सर फोड़ रहे हैं,आप मौन धारण किये हुए हैं ? सैनिकों के खिलाफ मानव अधिकार के तहत आरोप लग रहे हैं , मेजर गोगोई को बलि का बकरा बनाया जा रहा है ,CRPF के जवानों पर FIR दर्ज कराई गई है सिर्फ इसीलिए क्योंकि उस साहसी ड्राइवर ने एक आतंकवादी को अपनी जीप से ठोकर मार दी और अपने अधिकारी और साथियों की जान बचाई । आपके गृहमंत्री श्री राजनाथ जी श्रीनगर में बयान देते हैं कि इन पत्थरबाज युवाओं ने गलती कर दी है , वे नादान हैं ? आपके द्वारा समर्थित सरकार कठुआ के सत्तारूढ़ बलात्कारी के पक्ष में खड़े होकर उसको बचाने हेतु रैली निकाल रही है । क्या ये एक भद्दा ड्रामा नही है ? क्या आपके लिए सिर्फ सत्ता में रहना ही मात्र उद्देश्य है ? क्या देश सर्वोपरि नही है ?

12. आपने 2013 में लोक सभा के चुनाव के पहले वादा किया था कि आप सेना को मजबूत बनाएंगे ? क्या हुआ प्रधानमंत्री जी ?

13. रक्षामंत्री ने दो माह पूर्व देश के 62 कैंट स्टेशन्स से सभी सड़कों जो खोलने का आदेश पारित किया है । भगवान का धन्यवाद की अभी तक कोई घटना नही हुई है पर अगर होती है तो क्या रक्षामंत्री इसकी स्वयं जिम्मेदारी लेंगी ? सैनिक क्षेत्र एक प्रतिबंधित एरिया होता है और संविधान में इसके लिए कानून बनाये गये हैं । Prohibited Area Act 1923 - Section 2(8) , Works for Defence 1903 , Security of Defence Establishment - Section 7 , Defence Services Regulation- Para 1160.  ये कानून हैं और रक्षामंत्री ने गैरकानूनी आदेश दिया है । ऐसा क्यों प्रधानमंत्री जी ?

14. आपने उत्तरप्रदेश चुनाव के दौरान "Surgical Strike" को बड़ी खूबसूरती से भुनाया ।ऐसा देश में पहली बार हुआ कि  एक राजनैतिक दल ने सशस्त्र सेना का राजनीतिकरण किया । आपकी सूचना हेतु , ऐसी स्ट्राइक्स पहले भी हो चुंकी है पर उस समय मे राजनेताओं ने कोई राजनीति नही की ।आपको बताना अनुचित नही होगा कि सबसे बड़ी सर्जीकल स्ट्राइक भारतीय सेना ने 1971 में की थी और East Pakistan के अंदर घुसकर 13 दिनों में बांग्लादेश बना दिया था,93000 सैनिकों को बंदी बनाया गया जो द्वितीय विश्व युद्ध के बाद सबसे बड़ी घटना थी । और दूसरी बड़ी Surgical Strike 1984 में की गई थी जब भारतीय सेना ने सियाचेन ग्लेशियर में पाकिस्तान को मार भगाया था । किसी ने कोई राजनैतिक लाभ नही लिया , आपने ऐसा क्यों किया ?

15. कर्नाटक चुनाव की एक सभा में आपने फील्ड मार्शल करिअप्पा तथा जनरल थिमय्या के विषय में पूर्णतया गलत जानकारी दी थी और सोशल मीडिया में आप काफी चर्चित रहे थे । आप क्यों सेना को राजनीति में घसीट रहे हैं ?

16. अंतरराष्ट्रीय योग दिवस में जिस ठेकेदार को मैट्स बिछाने का काम दिया था , उसने नही किया ,आपने सेना से करवाया ? क्या सेना इन कामों के लिये है ?

17. मुंबई में रेलवे का फुट ब्रिज गिरा , आपने सेना बुला ली । क्या रेलवे सक्षम नही है ?

18 . आपने दो सीनियर लेफ्टिनेंट जनरल्स को सुपरसीड करने के बाद जनरल रावत को आर्मी चीफ बनाया । ऐसा देश में पहले कभी नही हुआ कि दो सीनियर जनरल को सुपरसीड कर दिया गया  हो । महोदय इससे सेना के मनोबल में कमजोरी आती है तथा इसे सेना का राजनीतिकरण कहना अनुचित नही होगा ।

19. मेरा अंतिम प्रश्न राफाल डील पर है , जिसमें आपके वित्तमंत्री तथा रक्षामंत्री ने मीडिया के सामने झूठे बयान दिए हैं और आप मात्र एक मूक दर्शक बने हुए हैं । वायुसेना को 7 स्कॉडरन की ज़रूरत थी ( 18 aircrafts per squadron ) ईस प्रकार कुल 126 राफाल जहाजों की ज़रूरत थी ,अब सिर्फ 36 खरीदे जा रहे हैं । क्या चीन ने 1962 वाली " हिंदी- चीनी भाई भाई " की नीति अपना ली है और विमानों की संख्या कम के दी गई है  ? जंहा तक इस डील में घपले का प्रश्न है तो फ्रांस के पूर्व राष्ट्रपति श्री फ्रांसुआ ओलांद का आज ही बयान आया है कि "भारत सरकार ने ही रफाल सौदे में दिया था रिलायंस का नाम "।

20. और अब आपने "अग्निपथ" योजना लाकर भारतीय सेना को "होमगार्ड" बना कर रख दिया है , क्या इसीलिए चीन के खिलाफ एक शब्द भी नही कहा ? महोदय गलवान में सैनिक शहीद हुए थे " हैंड तो हैंड " फाइट में , क्या आपके अग्निवीर टिक पाते ? आप नही समझेंगे "नाम-नमक-निशान" की परिभाषा जिसके चलते सैनिक शहीद हो जाता है , शायद आपकी परिभाषा है "सत्ता-जुमला-परिधान"

माननीय प्रधानमंत्री जी अगर आप सेना को उनका हक नही दे सकते ,या देना नही चाहते तो आने वाले समय में गम्भीर समस्याएँ उभर सकती हैं ।आज का सेवारत सौनिक सभी कुछ देख रहा है पर एक सैनिक में बहुत सहनशीलता होती है ।आपसे हार्दिक विवेदन है कि सेना को तिरिस्कृत मत करें , उसका सम्मान करें , उसके परिवारों की तकलीफों को दूर करें ।लोकतंत्र की रक्षा हेतु आपका सबसे बढ़ा हथियार सेना है उसकी धार को पैना रखिये । जब आपके चहेते बाबू लोग तथा पुलिस अपने हाथ खड़े कर देती है तब सिर्फ सेना ही एक विकल्प बचता है ।

धन्यवाद एवं जयहिन्द ,

आपका आज्ञाकारी सैनिक ,

ब्रिगेडियर प्रदीप यदु

रायपुर, छत्तीसगढ़।

#अग्निपथ #vss